विटामिन बी 3 की कमी क्या है?
विटामिन बी 3 को नियासिन (Niacin) के नाम से भी जाना जाता है। यह शरीर की पाचन क्रिया, त्वचा और मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और साथ ही यह कई एंजाइमों को उनका काम करने में मदद करता है। विटामिन बी3 कार्बोहाइड्रेट को ग्लूकोज में परिवर्तित करने, वसा और प्रोटीन का मेटाबॉलिज्म करने और तंत्रिका तंत्र को ठीक से काम करने में मदद करने काफी मदद करता है। विटामिन बी 3 सेक्स करने और तनाव संबंधित हार्मोन को मैनेज करने में भी मदद करता है। इसके साथ-साथ यह सर्कुलेशन और कोलेस्ट्रॉल के स्तर में भी सुधार करता है।
जब शरीर पर्याप्त मात्रा में विटामिन बी 3 प्राप्त ना कर पाए या पर्याप्त मात्रा में विटामिन बी 3 को अवशोषित ना कर पाए तो शरीर में विटामिन बी 3 की कमी होने लगती है।
विटामिन बी 3 की कमी का शुरुआती संकेत भूख कम लगना होता है। विटामिन बी 3 की कमी कम या ज्यादा हो सकती है। इसकी कमी होने का सबसे आम लक्षण त्वचा, पाचन तंत्र और तंत्रिका तंत्र से संबंधित होते हैं।
विटामिन बी 3 में कमी होने से पेलाग्रा (Pellagra) रोग हो जाता है, जो गंभीर या लंबे समय से विटामिन बी 3 की कमी रहने से होता है। गंभीर रूप विटामिन बी 3 की कमी (पेलाग्रा) होने से डर्मेटाइटिस (Dermatitis: त्वचा में लालिमा, सूजन व जलन), उल्टी, दस्त, सिरदर्द, थकान और याददाश्त में कमी होने लगती है। यदि इसका इलाज ना किया जाए तो अंत में पेलाग्रा घातक हो सकता है।
इस स्थिति का परीक्षण आपके लक्षणों और स्पेशल ब्लड टेस्ट के आधार पर किया जाता है, इस ब्लड टेस्ट के माध्यम से आपके खून में विटामिन बी3 की जांच की जाती है।
विटामिन बी 3 की कमी को दूर करने के लिए विटामिन बी 3 से भरपूर खाद्य पदार्थों का सेवन किया जाना चाहिए। इनमें दूध, अंडे, मछली, चिकन, खजूर,एवोकैडो, टमाटर, गाजर, पत्तेदार सब्जियां, साबुत अनाज के उत्पाद और नट्स आदि शामिल हैं।
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