ऐसी बहुत सारी समस्याएं हैं जो शरीर के विभिन्न हिस्सों को प्रभावित करके जांघ में दर्द का कारण बन सकती हैं, जैसे इन अंगों पर असर करने वाली समस्याएँ:
- लिगामेंट्स (ये शरीर के जोड़ों में स्थित मजबूत और लचीले ऊतक होते हैं जो दो हड्डियों को एक दूसरे से जोड़ने का काम करते हैं)
- टेंडन्स (ये मजबूत और लचीले ऊतक जो मांसपेशियों और हड्डियों को आपस में जोड़ कर रखते हैं)
- मांसपेशियों
- जोड़ों
- हड्डियों
- नसों
- रक्तवाहिकाओं
- त्वचा
जांघ के आस पास की मांसपेशियों या टेंडन में चोट लगने के कारण भी जांघ में दर्द हो सकता है। कूल्हे के जोड़ों से संबंधित समस्याएं जैसे कूल्हे का आर्थराइटिस होने के कारण भी जांघ के अगले हिस्से में दर्द हो सकता है। खेलों के दौरान या किसी काम करने के दौरान लगने वाली चोटों के कारण भी जांघ में दर्द होने लग सकता है यहां तक रोज़ाना के सामान्य कार्यों को करने के दौरान भी जांघों में दर्द हो सकता है।
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आपकी जांघों में किसी प्रकार की तकलीफ़ जैसे दर्द, जलन या पीड़ा महसूस होना एक सामान्य अनुभव भी हो सकता है। ज्यादातर मामलों में जांघ का दर्द किसी गंभीर समस्या की सूचना नहीं देता, लेकिन कुछ ऐसे उदाहरण हैं जिनमें जांघ का दर्द एक गंभीर अंदरुनी समस्या के लक्षण के रूप में भी विकसित हो सकता है।
डॉक्टर जांघों के दर्द का परीक्षण करने के लिए आपसे आपकी पिछली मेडिकल स्थिति के बारे में पूछेंगे और आपका शारीरिक परीक्षण करेंगे। स्थिति की ठीक से जांच करने के लिए डॉक्टर आपकी जांघों का एमआरआई स्कैन और सीटी स्कैन भी करने को कह सकते हैं।
जांघों के आस-पास के क्षेत्र में किसी प्रकार की चोट खासकर व्यायाम करने के दौरान या खेल के दौरान ही लगती है। इसलिए व्यायाम या खेल शुरू करने से पहले अपने शरीर को ठीक से स्ट्रेच कर लेना चाहिए और पर्याप्त मात्रा में पानी पीना चाहिए।
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जांघों में दर्द का इलाज इसके कारण का पता लगाकर व उसका प्रबंध करके किया जाता है। जांघों संबंधी समस्याओं को ठीक करने के लिए आमतौर पर किसी सर्जिकल प्रक्रिया की जरूरत नहीं पड़ती। इसके इलाज में आमतौर पर सूजन व जलन की रोकथाम करने वाली दवाएँ (Anti-inflammotory drugs), दर्द को कम करने वाली दवाएँ या स्टेरॉयड इंजेक्शन आदि का उपयोग किया जाता है। जांघों में होने वाला दर्द आपको सामान्य शारीरिक गतिविधियाँ करने से रोकता है व और अधिक बदतर हो जाता है। साथ ही आपके चलने व वजन उठाने की क्षमता को भी प्रभावित करता है। यदि जांघों के दर्द की समय पर जांच करवा कर उचित इलाज ना किया जाए तो यह जीवन के लिए हानिकारक स्थिति भी पैदा कर सकता है।
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