ऐस सिंड्रोम क्या है?
ऐस सिंड्रोम एक दुर्लभ अनुवांशिक विकार है, जिसमें अस्थि-मज्जा में खून की कमी और जोड़ों व हड्डियों की विकृति होती है। इसमें होने वाली विकृति में सबसे आम विकृति है अंगूठे में तीन हड्डियां मौजूद होना। अस्थि-मज्जा में शरीर में रक्त कोशिकाओं का उत्पादन होता है, इसीलिए ये शरीर का एक बेहद महत्वपूर्ण हिस्सा होता है।
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ऐस सिंड्रोम के लक्षण क्या हैं?
ऐस सिंड्रोम होने पर कई लक्षण होते हैं, जैसे व्यक्ति का विकास धीमे होना, पलकों का अपने आप बंद होना, त्वचा का रंग फीका पड़ना, कान विकृत होना, कंधे सिकुड़ना, तालु का दो हिस्सों में बंटा होना, अंगूठे में तीन हड्डियां मौजूद होना, जन्म से ही जोड़ों को पूरी तरह सीधा न कर पाना और उँगलियों के जोड़ कम होना।
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ऐस सिंड्रोम क्यों होता है?
ऐस सिंड्रोम एक ऐसा विकार है जो जन्म के समय ही बच्चे में मौजूद होता है। ये सिंड्रोम अनुवांशिक होता है और अभी तक इस बात का पता नहीं चल पाया है कि ये किस कारण होता है। हालांकि, इस बात की पुष्टि की जा चुकी है कि ये दोनों लिंगों के बच्चों को प्रभावित कर सकता है।
ऐस सिंड्रोम का इलाज कैसे होता है?
ऐस सिंड्रोम के कारण होने वाले एनीमिया के लिए स्टेरॉयड थेरेपी या दवाओं का उपयोग किया जाता है। अगर एनीमिया ज्यादा गंभीर है, तो व्यक्ति को खून भी चढ़ाया जा सकता है ताकि शरीर में मौजूद ऑक्सीजन का स्तर सही रहे। खून चढाना अधिकतर ऐस सिंड्रोम से ग्रस्त व्यक्ति के जीवन के शुरूआती सालों में ही आरंभ कर दिया जाता है। ऐस सिंड्रोम के लिए व्यक्ति की अस्थि-मज्जा का प्रत्यारोपण भी किया जा सकता है। अगर व्यक्ति का तालु या उसके होंठ ऐस सिंड्रोम के कारण दो हिस्सों में बंटे हुए हैं, तो उसके लिए सर्जरी की जा सकती है। ऐस सिंड्रोम से ग्रस्त व्यक्ति या बच्चे के माता-पिता के लिए काउंसलिंग भी की जा सकती है।
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