ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया के लिए नॉनसर्जिकल उपचार
ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया और खर्राटे इन दोनों समस्याओं के नॉन सर्जिकल उपचार लगभग एक ही जैसे होते हैं, जिनमें कुछ ही भिन्नताएं होती हैं, जो निम्न हैं:
- व्यवहार में बदलाव
- दंत उपकरण और माउथपीस
- CPAP (निरंतर साकारात्मक वायुमार्ग दाब)
- दवाएं
व्यवहार में बदलाव
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मध्यम ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया के लिए व्यवहार में बदलाव सबसे साधारण उपचार होता है, लेकिन इसे निभाना अक्सर थोड़ा मुश्किल हो जाता है। कभी-कभी एप्निया केवल कुछ ही अवस्थाओं में होता है, जैसे पीठ के बल लेटने से। कोई भी व्यक्ति अपनी सोने की अवस्था में बदलाव लाकर एप्निया के लक्षणों को कम कर सकता है और अपनी नींद में सुधार ला सकता है।
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ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया में मोटापा मुख्य कारणों में से एक होता है। यह अनुमान लगाया गया है, कि 10 प्रतिशत वजन का बढ़ना भी एप्निया और हाईपोप्निया की स्थिति को बद्तर बना देता है। ऐसी स्थिति में 10 प्रतिशत वजन घटना एप्निया और हाईपोप्निया की स्थिति को काफी हद तक ठीक करता है। इसलिए एक स्वस्थ जीवन शैली और आहार जो वजन कम करने में प्रोत्साहन करता है, उससे ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया में सुधार लाया जा सकता है। (और पढ़ें - मोटापा का इलाज)
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दुर्भाग्य से, ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया से पीड़ित ज्यादातर लोग खुद को थका हुआ पाते हैं, उनके पास व्यायाम करने के उर्जा नहीं होती। मरीज का व्यवहार और अधिक जटिल हो जाता है, जब वह अधिक थका हुआ होता है, व्यायाम कम कर पाता है, अधिक वजन बढ़ जाता है और तब ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया की स्थिति और बद्तर हो जाती है। अक्सर, ऑब्स्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया का उपचार अन्य तरीकों से किया जाता है, जिसमें मरीज को अपना वजन कम करने में सक्षम बनाया जाता है, ताकि ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया में सुधार हो सके। (और पढ़ें - वजन कम करने की एक्सरसाइज)
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स्वास्थ्य नींद और अन्य व्यवहारिक संशोधनों को नींद की संपूर्ण गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए जाना जाता है। नीचे कुछ आम प्रक्रियाएं हैं, जिनकी मदद से नींद को प्रेरित किया जाता है और उसकी गुवत्ता में सुधार किया जा सकता है:
- अपने बेडरूम में शोर और प्रकाश को कम करें
- बिस्तर पर टीवी देखने और पढ़ने की आदत छोड़ें
- सोने के पूर्व खाना ना खाएं और ना ही व्यायाम करें
- बेडरूम का इस्तेमाल सिर्फ सोने के लिए ही करें
- कार्य संबंधी गतिविधि बेडरूम से बाहर करें
- बिस्तर पर जाने से पहले मानसिक और शारीरिक विश्राम के लिए एक अवधि का प्रबंधन (निर्धारण) करने की कोशिश करें।
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दवाएं
ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया के लिए काफी सारी दवाएं अध्ययन की गई हैं। लेकिन यह आम तौर पर वायुमार्ग के अवरुद्ध होने के कारण होता है, जिसमें दवाओं की मदद काफी मुश्किल से मिल पाती है। इसके अलावा इस पर और अधिक अध्ययन किए जा रहे हैं, ताकि भविष्य के लिए एक अच्छा विकल्प प्रदान किया जा सके।
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जिन लोगों में नाक के वायुमार्ग मे रुकावट होने के कारण ऑब्सक्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया होता है, उनके लिए नेजल स्टेरॉइड काफी असरकारक होते हैं। एक शोध के अनुसार, नेजल स्प्रे की मदद से, रेस्पीरेटरी डिस्टरबेंस इंडेक्स (Respiratory Disturbance Index) कम होकर 20 से 11 पर आ गई थी।
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कुछ लोगों को हाइपोथायरॉइडिज़्म (थायरॉयड हार्मोन उत्पादन में कमी) के कारण ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया हो जाता है। हालांकि, कुछ लोगों में थायरॉयड प्रतिस्थापन थेरेपी के बाद इसमें सुधार हो जाता है। लेकिन जिनका थायरॉयड सामान्य होता है, वे इस थेरेपी की मदद से ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया में सुधार नहीं कर पाएंगे।
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जिन लोगों में ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया का कारण मोटापा है। वे आहार और दवाओं की मदद से बेहतर हो सकते हैं, अगर ये वजन घटाने में सहायता करती हैं।
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अन्य दवाएं जिनपर अध्ययन किया गया है उनमें शामिल हैं, मेड्रोक्सिप्रोजेस्टेरोन (Provera, Cycrin, Amen) एसिटाजोलामाइड (Diamox), थ्योफाईलाइन (Theo-Dur, Respbid, Slo-Bid, Theo-24, Theolair, Uniphyl, Slo-Phyllin), ट्राइसिकलिक एंटीडिप्रेसेंट्स और सेलेक्टिव सेरोटोनिन रयूप्टेक इनहिबिटर (SSRI)। कुछ अन्य अध्ययनों के अनुसार, इन दवाओं को कम प्रभाव या प्रभावहीन भी देखा गया है। कुछ नई दवाएं भी हैं, तो सतर्कता को बढ़ाती हैं। ये दवाएं सतर्कता बढ़ाने में अस्थायी रूप से सफल हो सकती हैं। हालांकि ये दवाएं, नींद की कमी या ऑब्स्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया का इलाज नहीं करती।
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जिन मामलों में स्लीप एपनिया अन्य अंतर्निर्हित स्थितियों से होता है, उसके स्थिति के अनुसार उसका उपयुक्त उपचार लाभकारी हो सकता है।
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स्लीप एपनिया से पीड़ित जो लोग दिन में नींद महसूस करते हैं, तो दिन में उनकी नींद को खत्म करने के लिए भी दवाएं उपलब्ध हैं। ये दवाएं एक अज्ञात तंत्र पर प्रतिक्रिया करने के लिए दिमाग को उत्तेजित रखती हैं। इस वर्ग की प्रोटोटिपिकल दवा को मोडेफिनिल (Provigil) कहा जाता है।
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दंत उपकरण
यह दातों में लगाया जाने वाला एक उपकरण होता है, जो एक प्रकार से माउथपीस उपकरण की तरह ही होता है। यह जबड़े और जीभ को आगे की तरफ और तालु को उपर की तरफ पकड़ कर रखता है, जिसकी मदद से वायुमार्ग को अवरुद्ध होने से रोका जाता है। वायुमार्ग के आकार में थोड़ी सी वृद्धि ही अक्सर एप्निया को खत्म करने के लिए पर्याप्त हो सकती है। दंत उपकरण के लिए किसी सर्जरी की जरूरत नहीं पड़ती, यह छोटा और कहीं भी ले जाने योग्य होता है, इसको लगाने या उतारने के लिए किसी अन्य मशीन की जरूरत भी नहीं पड़ती है। इस उपकरण को अन्य उपचार के दौरान भी इस्तेमाल किया जा सकता है, जिनमें लगातार साकारात्मक वायुमार्ग दबाव (Continuous Positive Airway Pressure), अंदरूनी श्वासमार्ग और अन्य बाहरी वायुमार्गों की सर्जरी आदि शामिल हैं।
लगातार साकारात्मक वायुमार्ग दबाव (CPAP)
इसको ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया के किसी भी स्तर पर सबसे बेहतर नॉन-सर्जिकल उपचार माना जाता है। ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया के उपचार का सबसे पहला और मुख्य लक्ष्य वायुमार्गों को खुला रखना होता है, ताकि नींद के दौरान ये बंद होकर एप्निया का कारण ना बनें। CPAP की मदद से वायुमार्गों को खुला रखने के लिए वायु प्रैशर का इस्तेमाल किया जाता है।
Bi-स्तर साकारात्मक वायुमार्ग दबाव (BiPAP)
यह उन लोगों के लिए डिजाइन किया गया है, जो लोग CPAP का दबाव नहीं सहन कर पाते।
ऑटो-टाइट्रेटिंग लगातार साकारात्मक वायुमार्ग दबाव
यह ऑटो-टाइट्रेटिंग मशीन होती है, इसको समार्ट-CPAP मशीन भी कहा जाता है। जो रात भार जरूरत के मुताबिक दबाव को एडजस्ट करती रहती है। इस मशीन का मुख्य लक्ष्य मरीज की हर स्थिति और नींद के दौरान वायुदाब का स्तर जितना हो सके न्यूतम रखना होता है।
ऑबस्ट्रक्टिव स्लीप एपनिया के लिए सर्जिकल उपचार
ऐसे कई सर्जिकल विकल्प हैं जिनकी मदद से ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया का उपचार किया जा सकता है। सर्जिकल उपचार के प्रकार को किसी व्यक्ति की शारीरिक रचना और स्लीप एपनिया की गंभीरता के आधार पर चुना जाता है। अक्सर लोग सर्जरी से ही उपचार करवाना पसंद करते हैं, क्योंकि इससे एक बार में ही भरोसेमंद इलाज हो जाता है। काफी खर्चीली होने के बावजूद भी लोगों को सर्जरी का विकल्प ही अच्छा लगता है, क्योंकि कोई भी जीवन भर सोते समय दंत उपकरण या मास्क पहनना पसंद नहीं करेगा। ज्यादातर सर्जरी सुरक्षित होती हैं, हालांकि सर्जरी चाहे कितनी भी छोटी हो लेकिन उनमें जोखिम रहता है। ज्यादातर सर्जरी के दौरान अपने कार्यों से छुट्टी लेने की जरूरत पड़ती है।
सर्जरी के सभी जोखिम, लाभ और अन्य वैकल्पिकों को समझने के बाद ही सर्जरी कराना चाहिए।
(और पढ़ें - सर्जरी से पहले की तैयारी)
स्लीप एपनिया के लिए कोई सर्जिकल उपचार को शारीरिक समस्या वाले क्षेत्रों के अनुसार ही निर्धारित करना चाहिए। यहां एक या कई क्षेत्र हो सकते हैं, जो वायु के बहाव में दखल देते हैं और स्लीप एपनिया का कारण बनतें हैं। सर्जिकल उपचार की मदद से नाक, तालू, जीभ, जबड़े, गर्दन, मोटापे या अन्य क्षेत्रों में से कई का एक ही समय में उपचार कर दिया जाता है। किसी एक या अधिक वायुमार्गों को अवरुद्ध होने से रोकने के अनुसार ही सर्जरी की सफलता दर को निर्धारित किया जाता है। इसलिए, प्रत्येक सर्जरी को मरीज के आदर्श और उसकी विशिष्ट समस्या के अनुसार अनुकूलित किया जाता है। इनमें कुछ सर्जिकल विकल्प शामिल हैं -
- नाक वायुमार्ग सर्जरी
- तालु और ग्रसनी संबंधी सर्जरी
- उपरी वायुमार्ग उत्तेजना थेरेपी
- जीभ सर्जरी (Tongue Reduction)
- जीभ प्रस्थापन (Tongue Repositioning) या जेनियोग्लॉसस एडवांसमेंट (Genioglossus Advancement)
- हाइऑइड सस्पेंशन (Hyoid Suspension)
- मैक्जिलोमेंडिबुलर प्रतिक्रियाएं (Maxillomandibular procedures[UPPP])
- तालु प्रत्यारोपण
- ट्रेकियोस्टोमी
- बैरिएट्रिक सर्जरी
- उपरोक्त में से किसी का समायोजन
(और पढ़ें - सर्जरी कैसे होती है)
कई लोगों के वायुमार्गों में अवरोध कईं स्तरों पर होते हैं, इसलिए इन सर्जिकल तकनीकों को अक्सर एक साथ किया जाता है। उदाहरण के लिए UPPP थेरेपी के साथ जेनियोग्लॉसस एडवांसमेंट और हाइऑयड सस्पेंशन का इस्तेमाल करना।
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नाक वायुमार्ग सर्जरी (Nasal Airway Surgery) – यह नाक या उसके अंदर के भागों में असामान्य संरचना की मरम्मत की एक सर्जिकल प्रक्रिया होती है।
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तालु और ग्रसनी संबंधी सर्जरी (Palatal and Pharyngeal Surgery) – इस सर्जरी को UPPP के नाम से भी जाना जाता है। इसमें स्लीप सर्जरी या सर्जरी की प्रक्रिया में गले के उतकों को हटाया जाता है या उनको ठीक से लगाया जाता है।
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ऊपरी वायुमार्ग उत्तेजना थेरेपी (Upper Airway Stimulation Therapy) – इस सर्जिकल थेरेपी में मुंह में छोटे उत्प्रेकों का आरोपण किया जाता है, जो नींद के दौरान हाईपोग्लोसल (जीभ के नीचे का भाग) तंत्रिका को जीभ और उपरी वायुमार्गों के प्रति उत्तेजित करता है। जैसा कि बताया गया है कि ज्यादातर मरीजों में ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया तब होता है, जब नींद के दौरान उनकी मांसपेशियां और वायुमार्ग शिथिल हो जाते हैं। इस थेरेपी में मांसपेशियों की शिथिलता और उसके बाद वायुमार्गों में रुकावटों को ठीक करने का प्रयास किया जाता है।
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जीभ सर्जरी (Tongue reduction surgery) – इस सर्जरी में कई तरीके होते हैं, जिससे जीभ के आकार को कम करके गले के मार्ग को बढ़ाया जा सकता है।
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जेनियोग्लॉसस एडवांसमेंट (Genioglossus advancement) जो सर्जिकल प्रतिक्रिएं या स्लीप सर्जरी जीभ के आधार को आगे की तरफ बढ़ा कर रखती हैं, आमतौर पर वह विकृति या नींद श्वास विकार के कारण वायुमार्ग आकार में वृद्धि करती है।
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हाइऑइड सस्पेंशन (Hyoid Suspension) – यह प्रक्रिया थायरॉयड से हाइऑइड हड्डी को सुरक्षित रखती है, जिससे वायुमार्ग के क्षेत्र को स्थिर करने में मदद मिलती है।
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मैक्जिलोमैंडिबुलर (Maxillomandibular Advancement) – यह एक ऐसी सर्जिकल प्रतिक्रिया है, जिसमें जबड़े और ऊपरी दातों को आगे की तरफ बढ़ाया जाता है। तालु को उपर की तरफ खींचा जाता है और जीभ के आधार को आगे की तरफ बढ़ाया जाता है। जिससे श्वास के लिए मार्ग खोलने में मदद मिलती है।
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तालु प्रत्यारोपण (Palate Implants) – नरम तालु की खर-खर्राहट की आवाज को कम करने के लिए उनमें छोटे प्रत्यारोपण डाले जाते हैं। मध्यम और कम ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एप्निय से पीड़ित लोगों के लिए भी यह काफी बेहतर विकल्प माना जाता है।
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ट्रेकियोस्टोमी (Tracheostomy) – यह एक परिवर्तनशील प्रक्रिया होती है, जिसमें सर्जरी की मदद से गर्दन से ही वायुमार्ग को बाहर निकाला जाता है।
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बेरिएट्रिक सर्जरी (Bariatric Surgery) – बेरिएट्रिक सर्जरी को मोटापा कम करने की सर्जरी भी कहा जाता है, यह स्लीप एपनिया सर्जरी के प्रकारों में से एक है। यह सर्जरी काफी प्रभावित भी होती है, क्योंकि ज्यादातर स्लीप एपनिया का कारण मोटापा ही होता है। बेरिएट्रिक सर्जरी को वजन घटाने की प्रक्रिया के साथ भी जोड़ा जाता है।
(और पढ़ें - वजन घटाने के लिए योग)