मांसपेशीय दुर्विकास (मस्कुलर डिस्ट्रॉफी) होना क्या है?
मांसपेशीय दुर्विकास या मस्कुलर डिस्ट्रॉफी मांसपेशियों की एक ऐसी बीमारी है, जिसके कारण समय के साथ व्यक्ति की मासपेशियां कमजोर व पतली होने लगती हैं। इस बीमारी में जीन में असामान्य बदलाव के कारण ऐसे प्रोटीन बनने कम हो जाते हैं जो मांसपेशियों के स्वास्थ्य के लिए आवश्यक होते हैं। इसके कारण व्यक्ति के लिए चलना धीरे-धीरे मुश्किल हो जाता है और कई मामलों में मस्कुलर डिस्ट्रॉफी से शरीर के अन्य अंगों में भी समस्याएं होने लगती हैं।
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मांसपेशीय दुर्विकास (मस्कुलर डिस्ट्रॉफी) के लक्षण क्या हैं?
मस्कुलर डिस्ट्रॉफी के शुरूआती लक्षण होते हैं डगमगाकर चलना, बार-बार गिरना, मांसपेशियों में दर्द व अकड़न, विकास में देरी, दौड़ने या भागने में दिक्कत, बैठने या खड़े होने में दिक्कत और पंजों पर चलना। समय के साथ ये समस्या बढ़ती जाती है और इससे अन्य लक्षण भी होने लगते हैं, जैसे चल न पाना, गतिविधियां न कर पाना और सांस लेना बहुत मुश्किल होना आदि।
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मांसपेशीय दुर्विकास (मस्कुलर डिस्ट्रॉफी) क्यों होता है?
मांसपेशियों को खराब होने से रोकने के लिए कई जींस प्रोटीन बनाती हैं और मस्कुलर डिस्ट्रॉफी की समस्या तब होती है जब इनमें से किसी भी एक जींस में कुछ खराबी होती है। मस्कुलर डिस्ट्रॉफी की समस्या कई प्रकार की होती है, लेकिन हर प्रकार का कारण एक ही होता है - उससे संबंधित जींस में खराबी होना। हालांकि, कभी-कभी मां के शरीर में मौजूद अंडों या भ्रूण में अपने आप कोई खराबी आ जाती है और बच्चे को मांसपेशीय दुर्विकास हो जाता है। अभी तक इस बात का पता नहीं लग पाया है कि ये बदलाव या खराबी क्यों होती हैं, लेकिन इस विषय पर अध्ययन चल रहा है।
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मांसपेशीय दुर्विकास (मस्कुलर डिस्ट्रॉफी) का इलाज कैसे होता है?
फिलहाल मस्कुलर डिस्ट्रॉफी का कोई इलाज उपलब्ध नहीं है, लेकिन इससे होने वाली समस्याओं और लक्षणों को कम करने के लिए कुछ उपाय किए जा सकते हैं। इसके लिए अलग-अलग प्रकार की थेरेपी लाभदायक हो सकती हैं, जैसे फिजिकल थेरेपी, ऑक्यूपेशनल थेरेपी, स्पीच थेरेपी आदि। मांपेशियों के स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए कम तीव्रता वाले कर्टिकॉस्टेरॉइड भी दिए जा सकते हैं। हड्डियों की समस्याओं के लिए कभी-कभी सर्जरी की जाती है ताकि व्यक्ति को रोजमर्रा के कार्य करने में समस्याएं न हों। मस्कुलर डिस्ट्रॉफी के कारण होने वाली दिल की समस्याओं के लिए रोगी को पेसमेकर की आवश्यकता हो सकती है।
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