चूंकि कार्बोहाइड्रेट वजन बढ़ाने और कम करने दोनों तरीकों से काम करता है इसलिए कार्बोहाइड्रेट को अपने आहार में शामिल करने के लिए सावधानी बरतनी चाहिए। तो चलिए हम आपको बताते हैं कि किस तरह के कार्बोहाइड्रेट आहार का आपको सेवन करना चाहिए।
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ताजे फल जैसे तरबूज, रास्पबेरी, अंगूर, ब्लूबेरी, नाशपाती और बेर आपको फाइबर, बहुत अधिक पानी और नेचुरल शुगर प्रदान करते हैं। अतः इन फाइबर युक्त फलों का सेवन करें।
रिफाइंड अनाज के सेवन से बेहतर है कि आप साबूत अनाज का सेवन करें। ये आपको फाइबर और पोटेशियम, मैग्नीशियम और सेलेनियम प्रदान करते हैं। अनाज को रिफाइन करने से पोषक तत्व और फाइबर की मात्रा कम हो जाती है। वैसे तो सभी अनाज कार्बोहाइड्रेट प्रदान करते हैं लेकिन साबुत अनाज अतिरिक्त लाभ प्रदान करते हैं। साबुत अनाज (whole grains) से बने आइटम जैसे ब्रेड आपको बाजार में मिल जाएंगी हैं।
फलियां प्रोटीन का समृद्ध स्रोत हैं और इनमें पोटेशियम, मैग्नीशियम, सेलेनियम और फोलेट जैसे आवश्यक जैसे पोषक तत्व भी शामिल होते हैं। सेम, दाल और मटर में फाइबर (घुलनशील और अघुलनशील) प्रोटीन होते हैं और इसमें किसी भी प्रकार का कोलेस्ट्रॉल नहीं होता है। ये अन्य खाद्य पदार्थों की तुलना में अधिक फायदेमंद होते हैं। फलियों में कोलेस्ट्रॉल और संतृप्त वसा नहीं होता है इसलिए हृदय रोगियों के लिए बहुत लाभदायक है।
संतृप्त वसा का सेवन सीमित करने के लिए हमें कम वसा वाले डेयरी उत्पादों का उपयोग करना चाहिए। कम वसा वाले डेयरी उत्पाद हमें कम कैलोरी के साथ विटामिन, खनिज, प्रोटीन, और कैल्शियम देते हैं। पर यह सुनिश्चित करना आवश्यक है कि आप जिस भी डेयरी उत्पाद का सेवन करते हैं उसमें चीनी की मात्रा ज्यादा नहीं होनी चाहिए।
अधिक मात्रा में चीनी का सेवन हमारे स्वस्थ के लिए अच्छा नहीं होता है। यह हमरे वजन को बढ़ाने के साथ-साथ खराब पोषण प्रदान करते है और इसके सेवन से दातों की क्षय भी हो सकती है। इसलिए कैंडी, शुगर ड्रिंक, मिठाई के सेवन से बचें। ये आपको कैलोरी के सिवा कोई पोषण प्रदान नहीं करते हैं।
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