सभी के माता-पिता अपने बच्चों को खाना खाने से पहले या कुछ भी करने के बाद हाथ धोने की एक अच्छी आदत जरूर सिखाते हैं, लेकिन हाथ धोना सिर्फ बच्चों के लिए ही एक अच्छी आदत नहीं है। छोटे से लेकर बड़े तक सभी को हाथ धोने की एक अच्छी आदत सीखनी चाहिए। इस लेख में हम आपको हाथ धोने का सही तरीका बता रहे हैं। सही तरीके के साथ हाथ धोने से कीटाणु और अशुद्धियाँ बिल्कुल साफ हो जाती हैं और इस तरह आपको किसी भी तरह की बीमारी नहीं होती।

तो चलिए इस लेख में हम आपको हाथ धोने के सही तरीके, फायदे और नुकसान के बारें में जानकरी देते है

  1. हाथ धोने की विधि - Hath dhone ki vidhi
  2. हाथ धोने के फायदे - Hath dhone ke fayde
  3. हाथ धोने के नुकसान - Hath dhone ke nuksan

हाथ धोने की विधि इस प्रकार है -

  1. सबसे पहले हाथ को गर्म या ठंडे पानी से गीला करें।
  2. अब कोई भी साबुन या लिक्विड हैंड वाश का इस्तेमाल करें।
  3. फिर 20 सेकेंड तक दोनों हथेलियों को रगड़ें।
  4. अपने दाएं हाथ से बाएं हाथ के ऊपरी हिस्सों को रगड़ें। फिर बाएं हाथ से दाएं हाथ के ऊपरी हिस्से को रगड़ें।
  5. अब अपने दाएं हाथ की उँगलियों से बाएं हाथ की उँगलियों के बीच लाकर रगड़ें। फिर दूसरे हाथ से भी इसी तरह करें।
  6. दाएं हाथ के अंगूठे को बाएं हाथ की हथेली से रगड़ें। फिर दूसरे हाथ से भी यही प्रक्रिया दोहराएं।
  7. फिर हाथ को गर्म या ठंडे पानी से धो लें।
  8. अब किसी साफ और सूखी तौलिया से अपने दोनों हाथों को पोछें।
  9. नल के पानी को बंद करने के लिए नल के ऊपरी हिस्से को तौलिये से बंद करें।

(और पढ़ें - बच्चों को सिखाएं अच्छी सेहत के लिए अच्छी आदतें)

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हाथ धोने के फायदे इस प्रकार हैं -

हाथ धोने के लाभ करें पेट की बीमारी के जोखिम को कम - Hath dhone ke labh kare pet ki bimari ke jokhim ko kam

हाथ धोने से दस्त के जोखिम और आंतों के संक्रमण को बढ़ने से रोकने में मदद मिलती है। यह लाभ बहुत ही आवश्यक है, खासकर बच्चों के लिए। मल में ऐसे बैक्टीरिया होते हैं जो दस्त व अन्य आंतों संबंधी बीमारियों का कारण बन सकते हैं। नियमित रूप से हाथ धोने से हाथ पर उपस्थित बैक्टीरिया साफ हो जाते हैं। साथ ही यह पेट के कीड़े उतपन्न होने से भी रोकता है।

(और पढ़ें - बैक्टीरियल संक्रमण के लक्षण)

हाथ धोने से आंखों का संक्रमण नहीं होता - Hath dhone se ankho ka sankraman nahi hota

आँखों का इन्फेक्शन जैसे ट्रेकोमा, रोजाना हाथ धोने से कम हो सकता है। यह आँख आने की समस्या को भी कम करने में मदद करता है। आँखों में संक्रमण तभी होता है जब हमारे हाथों में मौजूद बैक्टीरिया आँखों में चले जाते हैं। अच्छा होगा अगर आप अपने हाथ आँखों पर न लगाएं। आँखों को छूने से पहले अपने हाथों को अच्छे से धोएं। अलग-अलग कीटाणु के सम्पर्क में आने से आपको कुछ प्राकर के आई इन्फेक्शन हो सकते हैं जैसे कंजंक्टिवाइटिस, केराटाइटिस, स्टाय, पलकों की सूजन आदि। यह सभी संक्रमण कुछ आम लक्षण से शुरू होते हैं जैसे आँख लाल हो जाना, हल्का दर्द होना, खुजली होना, धुंधला दिखना आदि।

(और पढ़ें - वायरल इन्फेक्शन के लक्षण)

हाथ धोने से श्वसन तंत्र में संक्रमण नहीं होता - Hath dhone se shwasan tantra me sankraman nahi hota

नियमित रूप से हाथ धोकर आप गंभीर श्वसन संक्रमण के जोखिम को कम कर सकते हैं। कुछ रोगाणु जो श्वसन समस्या का कारण बनते हैं वो आमतौर पर जमीन या हाथ पर मौजूद होते हैं। कुछ रोगाणु डायरिया से भी जुड़े होते हैं जिनकी वजह से श्वसन समस्याएं होती हैं। कीटाणु जिनके कारण श्वसन संक्रमण होता है जैसे बैक्टीरिया, वायरस और फंगल इन्फेक्शन। श्वसन संक्रमण में कुछ लक्षण आम होते हैं जैसे कफ, छीकें आना, नाक बहनेबंद नाक आदि। नियमित रूप से हाथ धोने से आप कम बीमार पड़ते हैं।

(और पढ़ें - ब्रोन्किइक्टेसिस के लक्षण)

स्वच्छता अपनाना स्वास्थ्य के लिए बहुत जरूरी होता है, लेकिन स्वच्छता के प्रति अत्यधिक चिंतित रहना आपके सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है। टॉयलेट से आने के बाद साबुन और पानी से हाथ धोना या खाना खाने से पहले हाथ धोना बेहद जरूरी जरूरी है, लेकिन अत्यधिक हाथ धोना या हैंड सैनिटाइजर का इस्तेमाल आपको नुकसान पहुंचा सकता है। कुछ शोधकर्ताओं का मानना है, कि सेनिटाइजर का अत्यधिक उपयोग करने से बच्चों में बैक्टीरिया से लड़ने की क्षमता कम हो जाती है।

(और पढ़ें - रूखी त्वचा की देखभाल)

अल्कोहल पर आधारित हैंड सैनिटाइजर का इस्तेमाल या साबुन से ज्यादा हाथ धोने से आपको उल्टा परिणाम देखने को मिल सकता है। अत्यधिक हाथ धोने से आपके हाथ रूखे हो सकते हैं, फट सकते हैं और बल्कि त्वचा से खून भी निकल सकता है। इस तरह कीटाणु आसानी से आपके शरीर में जा सकते हैं। हाथ धोने के बाद त्वचा को रूखा होने से बचाने के लिए मॉइस्चराइजिंग क्रीम या लोशन जरूर लगाएं।

(और पढ़ें - मॉइस्चराइजर के फायदे

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