कुत्ते के काटने का दर्द सिर्फ वो ही समझ सकता है, जो इसका शिकार हुआ है. कुत्ते के काटने पर त्वचा पर घाव हो सकता है. यह घाव सामान्य या गहरा हो सकता है, लेकिन इन दोनों ही स्थितियों में इलाज की जरूरत पड़ती है. अन्यथा व्यक्ति कई तरह के संक्रमणों का शिकार हो सकता है. इसमें रेबीज सबसे आम है.

विश्व स्वास्थ्य संगठन की मानें तो रेबीज से होने वाली मौतों का मुख्य कारण कुत्ते ही होते हैं, क्योंकि मनुष्य को होने वाले रेबीज संक्रमण 99 फीसदी तक कुत्ते के काटने से ही होते हैं. कुत्तों द्वारा काटे गए 40 फीसदी लोग 15 वर्ष से कम उम्र के बच्चे हैं. दरअसल, जब कुत्ते के काटने से त्वचा पर छेद हो जाता है, तो इस स्थिति में उसके मुंह से बैक्टीरिया शरीर में जा सकते हैं,  इससे पीड़ित को कई तरह का संक्रमण हो सकता है.

आज इस लेख में हम बता रहे हैं कि कुत्ते के काटने पर कौन-कौन सी बीमारियां हो सकती हैं -

(और पढ़ें - कुत्ते के काटने पर क्या करें)

  1. कुत्ते के काटने से होने वाले रोग
  2. सारांश
कुत्ते के काटने से कौन से रोग होते हैं? के डॉक्टर

कुत्ते के काटने से कई बार सामान्य तो कई बार गंभीर स्थिति पैदा हो सकती है. जब कुत्ता हाथों या पैरों पर काटता है, तो इसमें संक्रमण का खतरा अधिक होता है. कुत्ते के काटने से कुछ संक्रमण बहुत गंभीर हो सकते हैं. ये संक्रमण कई जटिलताएं पैदा कर सकते हैं. इन संक्रमण का समय पर इलाज जरूरी होता है, क्योंकि उपचार के बिना ये संक्रमण घातक हो सकते हैं -

कैपनोसाइटोफैगा - Capnocytophaga

कुत्ते के काटने पर कुछ लोगों को कैपनोसाइटोफैगा नामक संक्रमण का सामना करना पड़ सकता है. कैपनोसाइटोफैगा संक्रमण होने पर घाव पर फफोले, रेडनेस, सूजन व दर्द हो सकता है. कैपनोसाइटोफैगा के लक्षण निम्न प्रकार से हैं -

कुत्ते के काटने के बाद 1 से 14 दिन के बीच ये लक्षण नजर आ सकते हैं. नीचे बताए गए कारक कैपनोसाइटोफैगा संक्रमण के जोखिम को बढ़ा सकते हैं -

अगर इसका इलाज समय पर न करवाया जाए, तो स्वास्थ्य समस्याएं संक्रमण की जटिलाएं काफी बढ़ सकती हैं. इस स्थिति में किडनी डैमेज व हार्ट अटैक हो सकता है. इसके इलाज के लिए डाक्टर एंटीबायोटिक्स लिख सकते हैं.

(और पढ़ें - कुत्तों में रेबीज के लक्षण)

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सेप्सिस - Sepsis

अगर कुत्ते के काटने के बाद इलाज न करवाया जाए, तो सेप्सिस संक्रमण हो सकता है. सेप्सिस जानलेवा संक्रमण है. इसमें शरीर का तापमान अधिक या कम होता है, पीड़ित व्यक्ति उलझन में रहना, अनिद्रा, तेज दर्द और बेचैनी जैसे लक्षण नजर आ सकते हैं. इस स्थिति में जितना हो सके, उतनी जल्दी डाक्टर से मिलना चाहिए. डॉक्टर इसके लिए एंटीबायोटिक दवाइयां और कुछ तरल पदार्थ दे सकते हैं.

(और पढ़ें - कुत्ते का चाटना भी है घातक)

रेबीज - Rabies

अगर रेबीज वाला कुत्ता किसी व्यक्ति को काट लेता है, तो पीड़ित व्यक्ति को रेबीज की समस्या हो सकती है. इसमें सिरदर्द, बुखार व कमजोरी के लक्षण नजर आ सकते हैं. इसके अलावा, रेबीज होने पर घाव के आसपास खुजली और चुभन भी महसूस हो सकती है. जो लोग कुत्ते के काटने पर इलाज नहीं करवाते हैं, उनमें रेबीज संक्रमण जोखिम भरा हो सकता है. पोस्ट एक्सपोजर रेबीज टीकाकरण से इस संक्रमण का इलाज किया जा सकता है.

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टेटनस - Tetanus

कुत्ते के काटने से टेटनस बैक्टीरिया शरीर में आसानी से प्रवेश कर सकता है. जबड़े में ऐंठनमांसपेशियों में ऐंठननिगलने में कठिनाई व मांसपेशियों की जकड़न टेटनस संक्रमण के लक्षण हो सकते हैं. यह एक गंभीर संक्रमण हो सकता है. टेटनस के लक्षण वाले लोगों को तत्काल इलाज की जरूरत होती है. इस स्थिति में उन्हें एंटीबायोटिक दवाइयों के साथ टेटनस वैक्सीन जैसी दवाइयां दी जा सकती हैं.

कुत्ते के काटने से व्यक्ति को कई तरह के संक्रमणों का सामना करना पड़ सकता है. इसके साथ ही कुत्ते के काटने से नसों या हड्डियों को भी नुकसान पहुंच सकता है. ऐसे में डॉक्टर से जल्दी संपर्क करना चाहिए.

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कुत्ते के काटने की वजह से होने वाले संक्रमणों से बचने के लिए एमरजेंसी ट्रीटमेंट लिया जा सकता है. अगर घाव से लगातार खून निकल रहा है या फिर घाव में सूजन है, तो इसे नजरअंदाज न करें. कुछ एंटीबायोटिक्स दवाइयों और वैक्सीन से इस घाव को ठीक किया जा सकता है और गंभीर संक्रमण से बचा जा सकता है. घाव को अच्छी तरह से धोने से शरीर से बैक्टीरिया दूर हो सकते हैं, साथ ही संकम्रण को रोकने में भी मदद मिलती है. अगर समय पर इलाज न करवाया जाए, तो संक्रमण शरीर के अन्य हिस्सों तक भी फैल सकता है. इसलिए, कुत्ते के काटने पर बिना किसी देरी के अस्पताल का रुख करना चाहिए. 

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