पीरियड मासिक धर्म चक्र का वह हिस्सा है जब एक महिला की योनि से कुछ दिनों (करीब 3 से 5 दिन तक) के लिए खून बहता है.

ज्यादातर महिलाओं में पीरियड्स सर्कल हर 28 दिनों में होता है, लेकिन मासिक धर्म चक्र के 21 वे दिन से लेकर 40 वे दिन तक आना भी नार्मल ही माना जाता है. यदि इस अवधि से अधिक समय होने पर भी अगर किसी महिला को पीरियड्स न हो, तो इसे पीरियड्स मिस होना कहते हैं.

इस दौरान महिलाओं में पीरियड्स के लक्षण दिखते हैं जिसमें सबसे प्रमुख लक्षण है कमर दर्द. पीरियड मिस होने पर कमर दर्द के कारणों में  प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम, रीढ़ में लिगामेंट, हार्मोनल परिवर्तन जैसी परेशानियों शामिल हैं.

इस लेख के माध्यम से पीरियड मिस होने पर कमर दर्द क्यों होता है, इस बारे में हम विस्तार से जानेंगे.

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  1. पीरियड मिस होना क्या होता है?
  2. पीरियड मिस होने पर कमर दर्द क्यों होता है?
  3. पीरियड मिस होने पर कमर दर्द से बचाव के उपाय
  4. सारांश
पीरियड मिस होने पर कमर दर्द क्यों होता है के डॉक्टर

पीरियड मिस होना महिलाओं में आम बात है. पीरियड मिस का सीधा अर्थ यह है कि आपका सामान्य मासिक धर्म या पीरियड उस समय नहीं हुआ जब यह होना चाहिए था. आपके पूरे जीवनकाल में, कई कारणों से आपका पीरियड मिस हो सकता है.

पीरियड मिस होने पर कुछ महिलाओं को कमर दर्द की तकलीफ होती है. यह आमतौर पर पहले दिन से होना शुरू हो जाता है. ऐसे में महिलाओं को अपना दैनिक जीवन सामान्य तौर पर जीने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है.

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पीरियड्स मिस होने पर कमर दर्द के कुछ प्रमुख कारण हो सकते हैं, जैसे हार्मोनल बदलाव, प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम, प्रीमेंस्ट्रुअल डिस्फोरिक डिसऑर्डर इत्यादि.

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आइए विस्तार से जानते हैं इन कारणों के बारे में -

हार्मोनल चेंज

पीरियड मिस होने पर कमर दर्द आमतौर पर हार्मोनल बदलाव और रीढ़ में लिगमेंट (स्नायुबंधन) पर उनके प्रभाव से जुड़ा हो सकता है.

पेन्सिलवेनिया विश्वविद्यालय के मेडिकल शोधकर्ताओं ने यह पता लगाया है कि हार्मोनल बदलाव कोलेजन उत्पादन को प्रभावित कर सकते हैं, जिससे लिगामेंट में शिथिलता या शरीर में ढीले लिगामेंट विकसित हो सकते हैं. ढीले लिगामेंट की वजह से रीढ़ की हड्डी में अस्थिरता उत्पन्न होती है, जिसके कारण कमर में दर्द हो सकता है.

(और पढ़ें - मासिक धर्म में देरी के कारण)

पीएमएस (प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम)

प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम (पीएमएस) से प्रभावित महिलाओं को पीरियड्स मिस होने पर कमर में दर्द की परेशानी हो सकती है. यह एक ऐसी जटिल स्थिति है, जो कई महिलाओं को प्रभावित करती है. पीएमएस के लक्षण आमतौर पर पीरियड्स से पहले सप्ताह के भीतर होते हैं और पीरियड्स शुरू होने के बाद बंद हो जाते हैं.

पीएमएस से प्रभावित महिलाओं में कमर दर्द के साथ-साथ सूजन, पेट में मरोड़, स्तनों में दर्द, कब्ज या दस्त, सिर दर्द और मूड स्विंग के लक्षण दिख सकते हैं. अगर आपको पीरियड्स होने के दिनों में या फिर पीरियड्स मिस होने पर इस तरह के लक्षण दिखते हैं, तो अपना तुरंत इलाज कराएं.

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पीएमडीडी

पीएमडीडी (प्रीमेंस्ट्रुअल डिस्फोरिक डिसऑर्डर) से ग्रसित महिलाओं को भी पीरियड्स मिस होने पर कमर दर्द की परेशानी हो सकती है. यह प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम से अधिक गंभीर समस्या है. इस समस्या से ग्रसित महिलाओं की कार्य क्षमता काफी ज्यादा प्रभावित होती है. इसकी वजह से महिलाओं में कमर दर्द के साथ-साथ अवसाद, चिंता. एलर्जी, मुंहासे, शरीर में सूजन और उल्टी-मतली जैसे लक्षण दिखते हैं.

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एंडोमेट्रिओसिस

एंडोमेट्रिओसिस से प्रभावित महिलाओं में पीरियड्स के दौरान या फिर पीरियड्स मिस होने के बाद कमर दर्द की परेशानी हो सकती है. इसकी वजह से महिलाओं को लगातार गंभीर रूप से कमर दर्द हो सकता है.

एंडोमेट्रियोसिस एक ऐसी स्थिति है जो गर्भाशय के बाहर यूटेरिन टिश्यूज़ (उत्तकों) के विस्थापन की विशेषता है. यह ऊतक आमतौर पर श्रोणि के अन्य क्षेत्रों की ओर बढ़ता है. इससे प्रभावित महिलाओं को गंभीर दर्द का अनुभव करना पड़ता है.

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  • गर्म पानी की बोतल या हीटिंग पैड को कमर के निचले हिस्से पर लगाने से पीरियड मिस होने पर होने वाले कमर दर्द को कम किया जा सकता है. 
  • गर्म पानी से नहाने से आपको कमर दर्द से राहत पाने मिल सकती है. 
  • पेट और कमर के निचले हिस्से की हल्की मालिश करने से कमर दर्द से आराम मिल सकता है. 
  • कमर दर्द होने पर नियमित रूप से व्यायाम करें. अध्ययनों से पता चलता है कि जो महिलाएं नियमित रूप से व्यायाम करती हैं उन्हें पीरियड्स में ऐंठन और कमर दर्द की परेशानी कम होती है.
  • एक हेल्थी डाइट चार्ट बनाए रखें और विटामिन बी और मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्वों वाला आहार लें.
  • शरीर को हाइड्रेटेड रखें. हाइड्रेट रहने के लिए खूब पानी पिएं.
  • कैफीन वाले पेय पदार्थ जैसे कॉफी, चाय, कोल्ड ड्रिंक्स और चॉकलेट का सेवन कम करें. 
  • शराब और धूम्रपान के सेवन से बचें.
  • कुछ महिलाएं पीरियड मिस होने पर होने वाले कमर दर्द से राहत के लिए गर्भनिरोधक गोलियों लेती हैं, ऐसा करना आपके लिए नुकसानदेय हो सकता है. डॉक्टर के सलाह के बिना किसी भी तरह की दवाई का सेवन करने से बचें.

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पीरियड मिस होना महिलाओं में सामान्य बात है अतः इसके कारण होने वाला कमर दर्द भी सामान्य स्वरुप का होता है. यदि आप अपना सही तरीके से देखभाल करेंगी और कमर दर्द को नजरअंदाज करने की भूल नहीं करेंगी तो आपको किसी तरह की परेशानी नहीं होगी. आप अपनी जीवन शैली में कुछ सरल बदलाव कर पीरियड मिस होने के कारण कमर दर्द को नियंत्रित कर सकती हैं.

(और पढ़ें - पीरियड्स मिस होने से पहले प्रेगनेंसी के लक्षण)

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