आंध्र प्रदेश के इलुरु में 'अज्ञात' बीमारी से 450 से ज्यादा लोगों के बीमार पड़ने के मामले की जांच शुरू हो गई है। खबर है कि सेंटर फॉर सेल्युलर एंड मॉलिक्यूलर बायोलॉजी (सीसीएमबी) के स्थानीय विशेषज्ञों की टीम और एम्स से मेडिकल एक्सपर्ट की एक टीम को बीमारी के कारण का पता लगाने के लिए प्रभावित इलाके में भेजा गया है। मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक, टीम के सदस्यों ने मरीजों के ब्लड सैंपल लेकर उन्हें जांच के लिए सीसीएमबी हैदराबाद और एम्स भेज दिया है। इसके अलावा, केंद्र सरकार की तरफ से एक तीन सदस्य टीम भी अज्ञात बीमारी की जांच के लिए मंगलवार को इलुरु पहुंच रही है। साथ ही विश्व स्वास्थ्य संगठन की भी एक टीम मामले पर नजर बनाए हुए है।

अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया की एक रिपोर्ट के मुताबिक, सीसीएमबी के डायरेक्टर राकेश मिश्रा ने बताया है कि अभी तक इस बीमारी के (सही) कारण का पता नहीं लगाया जा सका है। अखबार से हुई बातचीत में राकेश मिश्रा ने कहा, 'डॉक्टर अब तक यह (बीमारी का कारण) नहीं जान पाए हैं। अगर (ब्लड) सैंपल में किसी प्रकार के संक्रमण का पता चला तो इसकी छानबीन की जाएगी।' मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक, इस घटना को केंद्र सरकार के स्तर पर काफी गंभीरता से लिया गया है। सोमवार सुबह तक पीड़ितों की संख्या 300 के पार जाने की जानकारी के मिलने के बाद उप-राष्ट्रपति एम वेकैंया नायडू ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन से बात की थी। बताया जा रहा है कि इसके बाद ही केंद्र ने अपनी तरफ से तीन सदस्यीय टीम को इलुरु भेजने का फैसला किया है।

उधर, घटना के बाद राज्य सरकार अधिकारियों व स्वास्थ्यकर्मियों की मदद से प्रभावित इलाकों में घर-घर जाकर सर्वे करा रही है। कुछ जानकारों के हवाले से बताया गया है कि इस अज्ञात बीमारी का संबंध पानी में हानिकारक केमिकल के विलय से हो सकता है। हालांकि इसे स्वीकार नहीं किया गया है। अभी तक लिए गए सैंपलों की जांच में खून में कीटनाशक पाए जाने वाले केमिकल पदार्थ (ऑर्गेनोक्लोराइन सब्सटेंस) मिलने की बात भी सामने आई है। इन कीटनाशकों को फसलों को बचाने और मच्छर मारने में इस्तेमाल किया जाता है। आधिकारिक रूप से इस जानकारी की पुष्टि नहीं हुई है। लेकिन अगर यह सही है तो यह जांच का विषय है कि यह हानिकारक पदार्थ इतनी बड़ी संख्या में लोगों तक कैसे पहुंचे।

गौरतलब है कि आंध्र प्रदेश के इलुरु जिले में कथित रूप से अज्ञात बीमारी से 450 से ज्यादा लोग बीमार पड़ गए हैं। सोमवार को अंग्रेजी अखबार दि हिंदू की रिपोर्ट के मुताबिक, इस घटना से जुड़े एक मरीज की मौत भी हो गई है। बाकी मरीजों में महिलाओं और बच्चों की संख्या अच्छी खासी बताई जा रही है। खबर के मुताबिक, बीते शनिवार को सामने आए इस मामले में सबसे पहले 55 लोगों के बीमार पड़ने की जानकारी दी गई थी। रविवार की सुबह यह संख्या 170 हो गई और शाम होते-होते 270 पर पहुंच गई। वहीं, देर रात पीड़ितों का आंकड़ा 315 तक पहुंच गया।

इसके बाद सोमवार सुबह आई ताजा मीडिया रिपोर्टों में बताया गया था कि अज्ञात बीमारी की चपेट में आए लोगों की संख्या 350 तक पहुंच गई है और 400 की तरफ बढ़ रही है। अब आ रही रिपोर्टों में यह आंकड़ा 450 से ज्यादा बताया गया है। इसके अलावा, दर्जनों मरीज ऐसे भी बताए गए हैं, जिनके बारे में रिपोर्ट नहीं हो पाई है। इनका अलग-अलग निजी अस्पतालों में इलाज चल रहा है। अखबार ने बताया कि पीड़ितों में चक्कर आने, सिरदर्द और मिर्गी जैसे लक्षण दिखाई दिए हैं। ज्यादातर मामले जिले के कोबारी थोटा, कोतापेटा, तूर्पु वीधी और अरुंदातिपेटा इलाकों में देखने को मिले हैं।

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