एक स्वस्थ व्यक्ति के शरीर में भोजन से शुगर तुरंत ही छोटी आंत द्वारा अवशोषित कर ली जाती है। हालांकि, जिन लोगों को मेटाबॉलिक विकार होते हैं जैसे कार्बोहाइड्रेट मलअब्सॉर्प्शन और कुछ शुगर का बिना अवशोषित हुए रह जाना। इससे ओसमॉटिक दबाव बनने लगता है और इससे द्रवों व इलेक्ट्रोलाइट की गतिशीलता रक्त से आंत में हो जाती है। द्रवों की अधिकता से मल स्वयं ही पतला हो जाता है और इस स्थिति को दस्त या डायरिया कहा जाता है। मल में बिना अवशोषित हुई शुगर को स्टूल रिड्यूसिंग सब्सटांस कहा जाता है।
स्टूल रिड्यूसिंग सब्सटांस टेस्ट आपके मल में बिना अवशोषित हुई शुगर की मात्रा का पता लगाता है। फ्रुक्टोज, ग्लूकोज, लैक्टोस, पेंटोस और गलैक्टोस कुछ रिड्यूसिंग शुगर हैं जो कि स्टूल सैंपल में देखे जा सकते हैं।