अपराजिता का पौधा अपने अद्धभुत नाम से ही आपका ध्यान अपनी ओर आकर्षित कर सकता है। इस पौधे का वैज्ञानिक नाम (Clitoria Ternatea) महिलाओं के महत्वपूर्ण अंग, क्लिटोरिस से जुड़ा है। यह उष्णकटिबंधीय पौधा है जिसका फूल से लेकर जड़ तक लाभकारी है।
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अपराजिता का पौधा अपने अद्धभुत नाम से ही आपका ध्यान अपनी ओर आकर्षित कर सकता है। इस पौधे का वैज्ञानिक नाम (Clitoria Ternatea) महिलाओं के महत्वपूर्ण अंग, क्लिटोरिस से जुड़ा है। यह उष्णकटिबंधीय पौधा है जिसका फूल से लेकर जड़ तक लाभकारी है।
इंडोनेशिया, मलेशिया और थाईलैंड जैसे देश जो अपराजिता के पौधे का मूल स्थान हैं, वहां इसकी भरपूर खेती होती है। इसके फूल का उपयोग रोजमर्रा के जीवन में किया जाता है। इन देशों में इस फूल की पंखुड़ियों उपयोग खाने की चीजों में प्राकृतिक रंग के तौर पर किया जाता है जबकि इसके अन्य भागों का इस्तेमाल पारंपरिक या हर्बल दवा के तौर पर किया जाता है। तो आइये जानें इस पौधे से प्राप्त होने वाले लाभों के बारे में -
एशिया में लोग इसका व्यापक तौर पर उपयोग करते हैं। अपराजिता का इस्तेमाल मूत्रवर्धक के रूप में घरेलू उपचार के तौर पर किया जाता है। इसलिए यदि आपको किसी भी प्रकार की पेशाब से जुड़ी कोई भी समस्या है तो इस फूल का उपयोग जरूर करें।
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अपने बैक्टीरिया-रोधी गुणों के कारण, यह फूल कुछ विषाक्त-संदूषित भोजन करने से हुई परेशानियां (Food Poisoning) दूर करने में लाभकारी साबित हो सकता है। इसके अलावा यह पाचन सबंधी अन्य दिक्कतें भी दूर कर सकता है। लेकिन इसके उपयोग से पहले अपने डॉक्टर से सलाह जरूर लें।
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पशुओं पर किये गए कुछ अध्ययनों में पाया गया कि अपराजिता के सेवन से चूहों की याददाश्त बढ़ी। इसलिए संभव है कि इससे डिमेंशिया का भी उपयुक्त इलाज हो पाए।
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यदि आपकोअक्सर सिरदर्द की शिकायत रहती है तो अपराजिता के सेवन के बारे में जरूर सोचें। सिरदर्द आम बीमारी बन गयी है ऐसे में आप हर बार सिरदर्द के लिए दर्दनाशक (Painkiller) का उपयोग नहीं कर सकते। जरूरत से ज्यादा दर्दनाशक दवाओं का उपयोग सेहत के लिए अच्छा नहीं है। ऐसे में आपको चिंता करने की आवश्यकता नहीं है क्योंकि अपराजिता सिरदर्द का शर्तिया घरेलू उपचार हो सकता है।
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कुछ किस्म की एलर्जी अस्थमा का रूप ले लेती है। वैज्ञानिक अध्ययनों के अनुसार इसके इलाज में अपराजिता असरदार साबित हो सकता है। इसके अलावा आप इसका उपयोग सामान्य सर्दी-खांसी के उपचार के लिए भी कर सकते हैं। इससे श्वसन अंगों में जलन जैसी मामूली दिक्कतें भी दूर हो सकती हैं।
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अवसाद (Depression) से निपटना जटिल होता है लेकिन गौरतलब है कि अपराजिता का सेवन इस समस्या को और बढ़ने से रोकने या कम करने में मदद कर सकता है।
अपराजिता में चिंता कम करने और अवसाद-रोधी गुण होने की भी पुष्टि हुई है। तनाव से होने वाले अल्सर के सम्बन्ध में चूहों पर हुए अध्ययन में पाया गया कि 400 मिलीग्राम / किलोग्राम के आधार पर अपराजिता चाय के सेवन से चूहों पर तनाव का असर कम हुआ है।
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शरीर के चयापचय में तंत्रिका तंत्र की भी महत्वपूर्ण भूमिका होती है और अपराजिता में कुछ ऐसे तत्व होते हैं जो तंत्रिका तंत्र को दुरुस्त कर सकते हैं। दूसरे अर्थों में यह फूल मस्तिष्क के लिए बहुत फायदेमंद है।
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एशियाई देशों में महिलाओं को अमूमन पता होता है कि अपराजिता, अनियमित मासिक धर्म का बेहतरीन इलाज है। इसके अलावा यह खूबसूरत फूल महिलाओं में प्रजनन संबंधी कुछ समस्याओं से निपटने में भी मदद कर सकता है।
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अपराजिता के अद्भुत स्वास्थ्य लाभों में डायबिटीज को नियंत्रित करना भी शामिल है। यह फूल डायबिटीज से पीड़ित लोगों में रक्त शर्करा (Blood Sugar) के स्तर को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है।
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दिल का दौरा, ब्लड प्रेशर और कोलेस्ट्रॉल जैसी समस्याओं से निपटने में भी अपराजिता भरोसेमंद घरेलू उपचार साबित हो सकता है। हल्का-फुल्का सर्दी-ज़ुकाम हो तो आपको दवा लेने की बजाए अपराजिता के सेवन के बारे में सोचना चाहिए।
अपराजिता के बीज और जड़ का अर्क ट्राइग्लिसराइड्स को कम करने में सहायक होते हैं। हालांकि इसकी जड़ कोलेस्ट्रॉल को कम करने में सहायक होती है और इस सबसे यही संकेत मिलता है कि यह कार्डियोवैस्कुलर स्वास्थ्य के लिए उपयोगी है।
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एशियाई देशों में इस आकर्षक फूल वाले पौधे का उपयोग सांप और कीड़े-मकोड़े के काटने के प्राकृतिक इलाज के तौर पर किया जाता है। लेकिन इसे घरेलू उपचार के तौर पर ही लें और ऐसी परिस्थितियों में तुरंत डॉक्टर के पास जाएं।
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