गुजरात देश का दूसरा ऐसा राज्य बन गया है, जहां कोविड-19 बीमारी से मरने वालों की संख्या 100 से ज्यादा हो गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी किए आंकड़ों के मुताबिक, गुजरात में कोरोना वायरस से होने वाली इस बीमारी ने कुल 2,407 मरीजों में से अब तक 103 की जान ले ली है। इनमें सबसे ज्यादा मौतें अहमदाबाद शहर में हुई हैं, जहां कोरोना वायरस ने 1,500 से ज्यादा लोगों को बीमार किया है। वहीं, सूरत और वडोदरा में कोरोना वायरस ने क्रमशः 415 और 208 लोगों को संक्रमित किया है। सूरत में जहां इनमें से 12 की मौत हो गई है, वहीं, वडोदरा में दस लोगों ने जान गंवाई है।
राज्य सरकार के आंकड़े बताते हैं कि पूरे गुजरात में अभी तक 33,316 कोविड-19 टेस्ट किए गए हैं और 32,300 से ज्यादा लोगों को क्वारंटीन किया गया है। अकेले अहमदाबाद में 12,600 से ज्यादा टेस्ट किए गए हैं और करीब 7,600 लोगों को क्वारंटीन किया गया है। वहीं, मीडिया रिपोर्टों से पता चलता है कि बीते कुछ दिनों से गुजरात में कोरोना के मरीजों की दर महाराष्ट्र से भी तेजी से बढ़ी है। एक अंग्रेजी अखबार के मुताबिक, बीते एक हफ्ते में गुजरात में कोरोना वायरस से होने वाली मौतों में भी तीन गुना बढ़ोतरी हुई है। आंकड़े इसकी गवाही देते हैं।
बीती 15 अप्रैल तक गुजरात में कोरोना वायरस के कुल 695 मरीज थे। 22 अप्रैल तक यह आंकड़ा 2,272 हो गया। यानी तीन गुना से भी ज्यादा बढ़ोतरी। वहीं, कोविड-19 के मृतकों की संख्या भी जहां 15 अप्रैल को 67 थी, वह 22 अप्रैल तक 90 हो गई। इस तरह मौतों और मरीजों, दोनों के मामले में कभी दिल्ली, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और तमिलनाडु से पीछे रहा गुजरात, आज इन सबको पीछे छोड़ते हुए दूसरे नंबर पर आ गया है।
वहीं, पहले नंबर पर महाराष्ट्र है, जहां अब तक 269 मौतें हुई हैं। यहां भी मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ी है। बीते चार दिनों में ही 2,000 से ज्यादा नए मामलों की पुष्टि हुई है। एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, बीती 15 अप्रैल तक महाराष्ट्र में कुल 2,801 मरीज थे और मृतकों की संख्या 187 थी। एक हफ्ते बाद यानी 22 अप्रैल तक ये दोनों आंकड़े 5,649 और 269 हो गए। यानी मात्र सात दिनों में कुल मरीजों का आंकड़ा दोगुने से ज्यादा हो गया और 82 नई मौतें दर्ज की गईं।