कोविड-19 के इलाज के लिए ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी द्वारा बनाई जा रही वैक्सीन के निर्माण और आपूर्ति को लेकर ब्रिटेन की दवा कंपनी एस्ट्राजेनेका और भारत की सिरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) के बीच एक लाइसेंसिंग समझौता हुआ है। इसके तहत दोनों कंपनियों ने भारत समेत मध्य और निम्न आय वाले देशों को वैक्सीन की दो अरब यानी 200 करोड़ डोज सप्लाई करने पर सहमति दी है। खबरों के मुताबिक, इस समझौते के तहत वैक्सीन के उत्पादन का काम इस साल के अंत तक शुरू किया जाना है। एस्ट्राजेनेका के हवाले से आई कुछ अंतरराष्ट्रीय खबरों की मानें तो यह काम और भी जल्दी शुरू किया जा सकता है। गुरुवार को इस बाबत बयान जारी करते हुए एस्ट्राजेनेका ने कहा कि उसने और एसआईआई ने इस साल के अंत तक 40 करोड़ डोज तैयार करने की प्रतिबद्धता जताई है।
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गौरतलब है कि यह सौदा ऐसे समय में हुआ है जब हाल ही में ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी ने अपनी कोविड-19 वैक्सीन 'एजेडडी1222' के दूसरे और तीसरे चरण के ट्रायल शुरू करने की घोषणा की है। बताया जा रहा है कि यूनिवर्सिटी करीब 10 हजार वॉलंटियर्स पर यह वैक्सीन आजमाएगी। हालांकि ट्रायल के परिणाम सामने आने से पहले ही कंपनियों ने मैन्युफैक्चरिंग का खतरा मोल लिया है, जिसने सारी दुनिया के मेडिकल जानकारों और दवा कंपनियों का ध्यान खींचा है। इस बारे में एस्ट्राजेनेका का कहना है, 'हम यह जानते हैं कि शायद वैक्सीन काम न करे, लेकिन कंपनी अपने क्लिनिकल प्रोग्राम को और आगे बढ़ाने तथा मैन्युफैक्चरिंग को तेज करने के लिए प्रतिबद्ध है'
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उधर, दुनिया की सबसे बड़ी दवा निर्माण कंपनियों में से एक एसआईआई के सीईओ आदर पूनावाला ने एक बयान जारी कर एस्ट्राजेनेका के साथ हुए समझौते पर खुशी जताई है। इसमें उन्होंने कहा है, 'इस वैक्सीन को भारत लाने और मध्य तथा निम्न आय वाले देशों तक पहुंचाने के लिए हमें एस्ट्राजेनेका के साथ साझेदारी करने की खुशी है। एसएसआई ने बीते 50 सालों में वैक्सीन मैन्युफैक्चरिंग और ग्लोबल सप्लाई की अपनी क्षमता में काफी ज्यादा बढ़ोतरी की है।'
वहीं, एस्ट्राजेनेका ने माइक्रोसॉफ्ट के संस्थापक बिल गेट्स और उनकी पत्नी मेलिंडा गेट्स की संस्थाओं (कोलिशन फॉर एपिडेमिक प्रेपेयर्डनेस इनोवेशंस और गावी वैक्सीन्स अलायंस) के साथ मिल कर 750 मिलियन डॉलर (करीब 5,667 करोड़ रुपये) का समझौता किया है। गावी का कहना है कि उसने दो अरब डॉलर (15,000 करोड़ रुपये से ज्यादा) इकट्ठा करने की योजना के तहत वैक्सीन की मैन्युफैक्चरिंग और सप्लाई के लिए अंतरराष्ट्रीय दानकर्ताओं से 567 मिलियन डॉलर (करीब 4,283 करोड़ रुपये) जमा कर लिए हैं। वहीं, बिल एंड मेलिंडा गेट्स ने खुद अपनी फाउंडेशन की तरफ से 100 मिलियन डॉलर (करीब 756 करोड़ रुपये) देने का एलान किया है।