गर्भावस्था के दौरान सीने में जलन, अपच, तनाव और शारीरिक बदलाव आम बात है। इसी वजह से कई बार छाती में दर्द भी होता है।
सांस लेने के दौरान छाती में कई वजहों से दर्द हो सकता है जैसे किसी अन्य बीमारी का लक्षण, फेफड़ों में चोट लगना, ऊतकों या शरीर के किसी अंग (स्नायुबंधन, मांसपेशियां, छाती की नर्म ऊतक, वक्ष) में चोट लगना। किसी और बीमारी होने की स्थिति में सांस लेने के दौरान छाती में दर्द के साथ-साथ और भी लक्षण देखने को मिलेंगे जैसे खांसना, आवाज में कर्कशता, बुखार, शरीर में कंपकपी आदि।
आपके सीने के दाहिने हिस्से में दर्द कई कारणों से हो सकता है, लेकिन ज्यादातर छाती की तकलीफ हृदय रोगों से संबंधित नहीं है। लेकिन यह दिल के दौरे का परिणाम होती है। असल में छाती कई अंग और ऊतकों से मिलकर बना है। अगर कहा जाए कि आपकी छाती कई अंग और ऊतकों का घर है, तो गलत नहीं है। ऐसे में अगर किसी भी अंग या ऊतकों में तकलीफ होती है, तो छाती में दर्द होना स्वाभाविक हो जाता है।
सीने के बाईं ओर दर्द होते ही आप इस बात का अंदेशा लगा सकते हैं कि आपको दिल का दौरा पड़ा है। हालांकि इसके अलावा बाईं ओर छाती में दर्द होने के और भी वजहें होती हैं बल्कि यह जानलेवा भी हो सकती है। इसलिए छाती की बाईं ओर जैसे ही आपको दबाव या भारीपन महसूस हो, हाथों में तीव्र दर्द हो, गले, जबड़े या पीठ में भी दर्द हो तो तुरंत डाक्टर से संपर्क करें।
लेटते हुए सीने के बीचों बीच या बाईं ओर दर्द होना पेरिकार्डिटिस के लक्षण हैं। इसके तहत पेरिकर्डियम में सूजन होती है। हृदय के चारों ओर स्थित ऊतकों की थैली की पेरिकर्डियम कहते हैं। जब पेरिकर्डियम में किसी तरह की दिक्कत आती है तो लेटने पर सीने में दर्द होता है। इसके दर्द के साथ-साथ और भी लक्षण देखने को मिलते हैं।
ब्रेस्ट बोन या स्टेरनम आपके रिब केज के दो किनारों को जोड़ता है। यह आपके कई प्रमुख अंग जैसे हृदय, फेफड़ा, पेट के सामने स्थित है। कई बार ब्रेस्ट बोन में दर्द होने की वजह इसमें किसी तरह की दिक्कत का न होना भी हो सकता है। स्टेरनम पेन या छाती की हड्डियों में दर्द तभी होगा जब हड्डियों, मांसपेशिओं, पाचन तंत्र में कोई समस्या होगी।
छाती में दर्द, भारी और असहजता सही नहीं है। यह किसी गंभीर बीमारी का लक्षण है। हालांकि इसका मतलब यह भी न समझें कि आपकी बेटी को हार्ट अटैक आया है। इसके पीछे और भी वजहें हो सकती है। जैसे पैनिक अटैक, एनजाइना, पाचन तंत्र के रोग, लंग संबंधी समस्या जैसे निमोनिया, आदि। आप तुरंत डाक्टर के पास जाएं। ECG and 2D echo करवाएं। अगर इसकी रिपोर्ट सामान्य आती है तो समझें कि आपकी बेटी को हार्ट संबंधी समस्या नहीं है।
आप अपनी डाइट बदलें और एक्सरसाइज रोजाना करें। इसके साथ ही जितना संभव हो, तनाव कम लें। संभव है इससे आपको आराम मिलेगा। वैसे आपको दर्द लंबे समय से है, बेहतर होगा कि नजदीकी डाक्टर से संपर्क कर अपनी जांच कराएं।
गैस्ट्रोएसोफेगल रिफ्लक्स रोग गर्ड (जीईआरडी) से संबंधी समस्या है। यह पांचन तंत्र से संबंधी समस्या है। गर्ड तब होता है जब पेट में बना एसिड या पेट में मौजूद तत्व फूड पाइप की ओर वापिस लौट आता है। आपको हार्टबर्न की समस्या से बचने लिए अपनी जीवनशैली को बदलना होगा। साथ ही अगर आपका वजन ज्यादा है, तो उसे कम करें।
आप अपने खानपान की आदतों में बदलाव करें। पूरे दिन में तीन बार भरपेट खाना खाने के बजाय कम-कम खाएं पर ज्यादा बार खाएं। ऐसे आहार न लें, जिससे पेट को दिक्कत हो जैसे स्पाइसी, फ्राइड और फैटी आहार। इसके साथ चाय और कॅाफी भी न पिएं। आप यह नोटिस करें कि क्या आपको किसी बात से स्ट्रेस तो नहीं है। अक्सर स्ट्रेस की वजह से इस तरह की प्रॅाब्लम होती है। स्ट्रेस को कम करके भी आप इस समस्या से छुटकारा पा सकते हैं।
आप सबसे पहला अपने टेस्ट कराएं। इसके लिए डाक्टर से संपर्क करें। आपके चेस्ट में क्या प्रॉब्लम है, यह जानना जरूरी है।
आपको एग्जामिन किए बिना कुछ नहीं कहा जा सकता। आप फिजिशियन से संपर्क कर अपनी जांच कराएं। तभी पता चलेगा कि आपकी समस्या क्या है।
इन दिनों युवाओं में इस तरह की समस्या ज्यादा देखने को मिल रही है। ऐसा खाने की खराब आदतों की वजह से है। ऐसे भी मामले देखने को मिले हैं, तनाव की वजह से मरीज को हार्ट अटैक जैसा दर्द महसूस हुआ है। कहने का मतलब है कि दर्द कई बार साइकोलॅाजिकल भी होता है। आपके मामले में बेहतर यही होगा कि आप एक्सपर्ट से मिलें और अपना इलाज कराएं।
देखिए छाती में दर्द की कई वजहें होती हैं। आपकी छाती में दर्द हृदय, लंग्स, मस्कुलर और न्यूरोपेथिक वजहों से हो सकता है। ऐसा भी हो सकता है कि आपको अलग-अलग वजहों से दोनों समस्या हो रही है। आप अपना एनीमिया, विटामिन डी और बी 12 टेस्ट कराएं। इसके बाद ही आपकी समस्या का पता चल पाएगा।
आपकी दी गई इंफॅार्मेशन आपके इलाज के लिए काफी नहीं है। इसके बावजूद आपकी बात से इस बात का अंदाजा लगाया जा सकता है कि शायद आपको पसली में सूजन हो सकती है। आपको इसी तरह का दर्द दूसरी समस्याओं की वजह से भी हो सकता है। बेहतर होगा कि आप अर्थोपेडिशियन से संपर्क कर अपना ट्रीटमेंट करवाएं।
अगर दो दिनों से दर्द है तो आप उन्हें अभी तक अस्पताल या डाक्टर के पास क्यों नहीं ले गईं? आप सबसे पहले उनका ईसीजी कराएं। टेस्ट के आधार पर उनका ट्रीटमेंट होगा। आप एक काम और करें कि जब भी अपनी मां को डाक्टर के पास ले जाएं, तो उनकी पूरी मेडिकल हिस्ट्री भी डाक्टर को बताएं या जो भी रिपोर्ट्स हों, उन्हें अपने साथ ले जाएं। इससे डाक्टर को उनके स्वास्थ्य को समझने में आसानी होगी।
देखिए छाती में दर्द की कई वजह होती है। बिना वजह जाने आपका इलाज नहीं किया जा सकता। इसलिए बेहतर है कि आप एक बार डाक्टर को दिखाएं। इस बीच आप यह जानने की कोशिश करें कि कहीं बदलते मौसम की वजह से आपको सर्दी-जुकाम तो नहीं हुआ है। आमतौर पर सर्दी-जुकाम होने की वजह से भी छाती में दर्द होता है, जो थोड़े समय में खुद ब खुद ठीक हो जाता है। अगर दवा भी लेनी हो, तो डाक्टर से कंसल्ट करके दवा ली जा सकती है। लेकिन आपके मामले में ऐसा नहीं लग रहा है, क्योंकि आपने यहां किसी अन्य लक्षण का जिक्र नहीं किया है। इसलिए आप अपना इलाज कराने डाक्टर के पास जाएं।
अगर आप कई तरह के टेस्ट करवा चुके हैं, इसके बावजदू कोई समस्या पकड़ में नहीं आई। ऐसे में यही आशंका लगाई जा सकती है कि आपको छाती में दर्द, पेट में गैस की वजह से हो रहा है। बेहतर है कि आप अपने खानपान की आदतों में सुधार करें। जहां तक आपके हार्ट संबंधी समस्या की बात है, तो आप बता ही रहे हैं कि आपने कई तरह के टेस्ट किए हैं, जो सामान्य हैं। वैसे तो आपने यहां उन टेस्ट का जिक्र नहीं किया। लेकिन मेरे ख्याल से आपने ईसीजी और ईको करवाया होगा। अगर ये दोनों सामान्य हैं, तो अपने हृदय को लेकर परेशान न हों।
सबसे पहले आप ईसीजी और ईको कराएं। आपको बिना देखे कुछ नहीं कह सके। इसके अलावा आपके ट्रीटमेंट के लिए मेडिकल हिस्ट्री भी जानना जरूरी है। इसके बाद ही आपका इलाज किया जा सकेगा। आप इस तरह अपने दर्द को लेकर कोताही न बरतें। बेहतर है डाक्टर के पास जाएं और प्रॅापर ट्रीटमेंट लें।
छाती का दर्द सीरियस हो, यह जरूरी नहीं है। इसके बावजूद आप कोशिश करें कि इस तरह की समस्या हो तो डाक्टर से संपर्क करें। आपको दो हफ्तों से दर्द है, इसके प्रति लापरवाही करना सही नहीं है। अगर कोई सीरियस समस्या हुई, तो आपकी स्थिति और भी बिगड़ सकती है। डाक्टर आपको कुछ दवा देंगे, साथ ही कुछ टेस्ट के लिए भी बोलेंगे। आपको आराम आ जाएगा।